Is COVID-19 back again in India- 2023: सतर्क हो जायें कोविद के नये वेरिएंट-JN.1 से

COVID-19
COVID-19 new variant JN.1
COVID-19 new variant JN.1

यह बहुत ही चिंता का विषय है की भारत में कोरोना के फिर से लहर दिखाई दे रही है।  केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने गत गुरुवार को इसके बारे में नवीनतम जानकारी दी है की देश में अभी तक COVID-19 (कोविड -19) वायरस से संक्रमित होने के 358 नए मामले आई  है जिसमे 6 मरीजों की मौत की खबर है। इन 6 लोगों की मृत्यु में से केरल में 3, कर्णाटक में २, और पंजाब में १ मरीज शामिल है। मीडिया सूत्र के अनुसार,  कल तक दिल्ली एनसीआर में COVID-19 (कोविड-19) के नये वेरिएंट-JN.1 संक्रमण के 6 मामले और राजस्थान में 10 मामले पाए गए हैं

इस नए वेरिएंट के सामान्य लक्षणों में गले में खराश, सुस्ती और सिरदर्द शामिल हैं।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के नवीनतम आंकड़े-COVID-19:

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, भारत में 6 दिसंबर को COVID-19 (कोविड -19) के सक्रिय मामलों की संख्या 115 से बढ़कर शुक्रवार 22 दिसंबर को 640 हो गई है। जिसमे पिछले दो सप्ताह में COVID-19 (कोविड -19) से संबंधित 16 लोगों की मौतें दर्ज की गईं है और अभी पिछले 24 घंटों में तीन लोगों की मौतें हुई हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, अब तक सक्रिय मामलों की संख्या एक दिन पहले 2,669 से बढ़कर 2,997 हो गई हैं।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अब तक के रिपोर्ट के अनुसार भारत का कुल केस 4.50 करोड़ है और मरने वालों की संख्या 5.33 लाख है। जिसमे अब तक 4.44 करोड़ से ज्यादा लोग कोरोना वायरस से ठीक हो चुके हैं।  जबकि राष्ट्रीय रिकवरी दर 98.81 प्रतिशत है और मामले की मृत्यु दर 1.19 प्रतिशत है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, भारत में अब तक लगभग 220.67 करोड़ COVID-19 वैक्सीन खुराक दी जा चुकी हैं।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO ) के रिपोर्ट कोविद के नये वेरिएंट-JN.1  पर:

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO ) ने  मंगलवार (19 दिसंबर) को जेएन.1 (JN.1) को एक अलग वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट (वीओआई) के रूप में वर्गीकृत किया है। इसे पहले BA.2.86 सबलाइनेज के भाग के रूप में VOI के रूप में वर्गीकृत किया गया था। WHO वीओआई को ऐसे आनुवंशिक परिवर्तन के रूप में परिभाषित करता है जो इसकी संक्रामकता और टीकों से बचने की क्षमता को बढ़ा सकता है।

यह नये  वेरिएंट जेएन.1 (JN.1) स्पाइक प्रोटीन में एक अतिरिक्त उत्परिवर्तन के कारण भिन्न होता है। यह वैरिएंट चीन और संयुक्त राज्य अमेरिका सहित दुनिया भर के कई देशों में अब तक पाया गया है।

केरल में COVID-19 का नया वेरिएंट JN.1 के  पाये जाने की  घटना:

केरल में COVID-19 का उप-संस्करण JN.1 का पाया जाना एक महज आकस्मित घटना है जब भारतीय SARS-CoV-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम (INSACOG) द्वारा नियमित निगरानी की जा रही थी। इस निगरानी के अंतरगर्त 18 नवंबर को COVID -19 का परीक्षण एक 79 वर्षीय महिला के नमूना पर की जा  रही थी जिसमे इन्फ्लूएंजा जैसी बीमारी के हल्के लक्षण थे जो इसके पहले COVID – 19 से ग्रसित थी लेकिन वह अब तक पूर्णतः ठीक हो चुकी थी।

इसके बाद केरल में कोविड के मामलों में मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी पाई जाने लगी है लेकिन यह कोई गंभीर विषय नहीं है क्योंकि इन मरीजों में से अधिकांश अपने आप घर पर ही ठीक हो जाते है जैसा पहले भी हुवा है।  केंद्र सरकार की एक प्रेस  विज्ञप्ति के अनुसार केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय इस सम्बन्ध में केरल के अधिकारियों के संपर्क में है।

केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने रविवार को कहा कि COVID-19 के सब-वेरिएंट JN.1 चिंता का कारण नहीं है। जॉर्ज ने मीडिया को सम्बोधित कर यह बताया है कि महीनों पहले सिंगापुर हवाई अड्डे भारतीय यात्रियों में इस सब-वेरिएंट का पता पहले ही चल गया था।

इसके साथ ही उन्होंने कहा है की इसको हलके में नहीं लिया जा सकता है इसलिए उन्होंने लोगों से सतर्क और सावधान रहने को कहा और अन्य बीमारियों से पीड़ित लोगों को भी सावधान रहने का आग्रह किया। JN.1  एक उप-संस्करण है इसलिए चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है। हम सभी इस स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहें  है।

चार देशों में पाया गया है COVID-19 के नये वेरिएंट-JN.1:

इस नये वेरिएंट JN .1 के मरीज अभी तक, भारत, चीन, अमेरिका और सिंगापुर  में पायें गये हैं। सिंगापुर में इसके मामले बढ़ने के कान वहां के स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी को मास्क पहनने को कहा है।   WHO ने कहा है की वैष्विक जनस्वास्थ्य के लिए यह अभी कोई खतरा नहीं है फिर सतर्कता बरतना जरुरी है जिसके लिए WHO ने एक एडवाइजरी जारी किया है।

WHO द्वारा एडवाइजरी जारी करना:

COVID प्रोटोकॉल का पालन करना जरुरी है तभी COVID-19 के इस नये सब -वेरिएंट से होने वाले खतरों की संभावना को कम किया जा सकता है और यही सर्वोत्तम उपाय है।

सर्दियों में छुट्टी होने के कारण लोग एक देश से दूसरे देश में आवाजाही और आगमन बढ़ जाता है इसलिए दिसम्बर और इसके आसपास के दिनों में में COVID-19 के संक्रमण के मामले बढ़ जाते हैं। और एक देश से दूसरे देशों में संक्रमण के मामले भी बाद जाते हैं।

इसी कारणों से WHO (विश्व स्वास्थ्य संगठन) ने सभी देशों के लिए एडवाइजरी जारी किया है जिसमे COVID-19 (कोविद-19) और इसके नये वेरिएंट JN .1 पर निगरानी रखना, इससे सम्बंधित जांचों को तत्काल करना और जारी किये गए प्रोटोकॉल का पूरी दृढ़ता के साथ पालन करना है।

भारतीय  स्वास्थ्य मंत्री का सन्देश COVID-19 (कोविड-19) की स्थिति पर:

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव सुधांश पंत ने कहा, ” COVID-19 (कोविड-19) के कारण अस्पताल में भर्ती होने की दर में कोई वृद्धि अभी नहीं देखी गई है। अभी जिन मामलों को लेकर मरीजों को जो अस्पताल में भर्ती कराया गया है वे अन्य चिकित्सीय स्थितियों के कारण भर्ती कराये गये थे और COVID से इसका कोई सम्बन्ध है।”

स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने बुधवार, 20 दिसंबर को भारत में COVID-19 (कोविड-19) की स्थिति और बढ़ते मामलों के मद्देनजर सार्वजनिक स्वास्थ्य प्रणालियों की तैयारियों की बृहद समीक्षा की और उन्होंने कहा, “हम सभी को सतर्क रहना और कोरोना वायरस के इस नए और उभरते प्रकार के खिलाफ तैयार रहना महत्वपूर्ण और बहुत जरुरी है।”

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